यूपीपीएससी स्टाफ़ नर्स सिलेबस – UPPSC Staff Nurse Syllabus यहाँ से पढ़ सकते हैं। यूपीपीएससी स्टाफ़ नर्स की परीक्षा के अन्तर्गत 2 परीक्षा होंगी प्रारंभिक परीक्षा तथा मुख्य परीक्षा आयोजित की जायेंगी।

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स्टाफ नर्स प्रारंभिक परीक्षा
प्रारम्भिक परीक्षा का पाठ्यक्रम सामान्य ज्ञान का पाठ्यक्रम
विषय | प्रश्न | प्रकार | अंक |
---|---|---|---|
सामान्य ज्ञान | 30 | वस्तुनिष्ठ | 30 |
सामान्य हिन्दी | 20 | वस्तुनिष्ठ | 20 |
मुख्य विषय नर्सिंग | 120 | वस्तुनिष्ठ | 35 |
कुल | 170 | वस्तुनिष्ठ | 85 |
परीक्षा अवधि (समय) | 02 घण्टे (120 मिनट) |
स्टाफ नर्स मुख्य परीक्षा सिलेबस
मुख्य (लिखित) परीक्षा हेतु परीक्षा योजना
पाठ्यक्रम– मुख्य (लिखित) परीक्षा हेतू नर्सिंग विषय का पाठ्यक्रम प्रारम्भिक परीक्षा की भाँति ही रहेगा
मुख्य परीक्षा (परम्परागत)
नर्सिंग विषय
- प्रश्न पत्र – एक
- समयावधि – 03 घण्टा
- पूर्णांक 85 अंक
परीक्षा योजना
पूर्व पाठ्यक्रम के आधार पर नर्सिंग विषय ( परम्परागत) प्रश्नपत्र की रचना हेतु प्रश्नपत्रों के स्वरूप एवं अंको का विभाजन निम्नवत है : - प्रश्न दो खण्डों में विभाजित रहेंगे।
खण्ड अ— में कुल पाँच लघु उत्तरीय प्रश्न होंगे, सभी प्रश्न करना अनिवार्य है। प्रत्येक प्रश्न 05 अंक का होगा। (अधिकतम शब्द सीमा 125 )
खण्ड ब— में कुल छः दीर्घ उत्तरीय प्रश्न होंगे, अभ्यर्थी को इनमे से कोई चार प्रश्न हल करने होंगे। प्रत्येक प्रश्न 15 अंक का होगा । (अधिकतम शब्द सीमा 300 )
(1) भारत का इतिहास एवं भारतीय राष्ट्रीय आन्दोलन : भारतीय इतिहास के अन्तर्गत सामाजिक, आर्थिक एवं राजनीतिक पक्षों की सामान्य जानकारी पर महत्व होगा। भारतीय राष्ट्रीय आन्दोलन पर अभ्यर्थियों से स्वतंत्रता आन्दोलन, राष्ट्रीयता का अभ्युदय तथा स्वतंत्रता प्राप्ति के संबंध में सार परक जानकारी अपेक्षित है।
( 2 ) भारत एवं विश्व का भूगोल, भारत एवं विश्व का भौतिक, सामाजिक एवं आर्थिक भूगोलः
भारत के भूगोल के अन्तर्गत देश के भौतिक, सामाजिक एवं आर्थिक भूगोल से संबंधित प्रश्न होंगे। विश्व भूगोल में विषय की केवल सामान्य जानकारी अपेक्षित होगी।
( 3 ) भारतीय राजनीति एवं शासन, संविधान, राजनीतिक व्यवस्था, पंचायती राज, लोकनीति एवं अधिकारिक मुद्दे आदिः
भारतीय राजनीति एवं शासन के अन्तर्गत देश के संविधान पंचायती राज तथा सामुदायिक विकास सहित राजनीतिक प्रणाली के ज्ञान से संबंधित प्रश्न होंगे।
( 4 ) भारतीय अर्थव्यवथा एवं सामाजिक विकासः
अभ्यर्थियों के जनसंख्या, पर्यावरण तथा नगरीकरण से संबंधित समस्याओं एवं पारस्परिक संबंधभारतीय आर्थिक नीति एवं भारतीय संस्कृति के व्यापक स्वरूप के ज्ञान का परीक्षण किया जायेगा।
(5) राष्ट्रीय एवं अन्तराष्ट्रीय महत्व की सामयिक घटनायें
इसमें खेलकूद के प्रश्न भी सम्मिलित होंगे।
(6) भारतीय कृषिः
भारत में कृषि, कृषि उत्पाद एवं उसके विपणन के संबंध में सामान्य जानकारी की अपेक्षा अभ्यर्थियों से होगी।
( 7 ) सामान्य विज्ञान :
सामान्य विज्ञान प्रश्न दैनिक अनुभव तथा प्रेक्षण से संबंधित विषयों सहित विज्ञान के सामान्य परिबोध एवं जानकारी पर आधारित होंगे, जिसकी ऐसे किसी भी सुशिक्षित व्यक्ति से अपेक्षा की जा सकती है जिसने वैज्ञानिक विषयों का विशेष अध्ययन नहीं किया है। इसमे भारत के विकास में विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी की भूमिका से संबंधित प्रश्न भी होंगे।
( 8 ) प्रारम्भिक गणित हाईस्कूल स्तर तकः
अंकगणित, बीजगणित व रेखागणित।
अभ्युक्तिः
अभ्यर्थियों से यह अपेक्षित होगा कि उत्तर प्रदेश के विशेष परिप्रेक्ष्य में उपर्युक्त विषयों का उन्हें सामान्य परिचय हो।
सामान्य हिन्दी
- विलोम
- वाक्य एवं वर्तनी शुद्धि
- अनेक शब्दों के एक शब्द
- तत्सम एवं तद्भव शब्द
- विशेष्य और विशेषण
- पर्यायवाची शब्द
नर्सिंग
नर्सिंग
- एनाटॉमी और फिजियोलॉजी :
कंकाल तंत्र, मांसपेशी प्रणाली, हृदय – रक्त संचार तंत्र, श्वसन तंत्र, पाचन तंत्र, तांत्रिका तंत्र, अंतःस्रावी तंत्रप्रजनन तंत्र और इन्द्रियाँ । - नर्सिंग की बुनियादी बातें :
एक पेशे के रूप में नर्सिंग, चिकित्सीय वातावरण का रख-रखाव, नर्सिंग प्रक्रिया व नर्सिंग सेवा-सुश्रुषा योजना, नर्सिंग केयर प्लान, एक मरीज को भर्ती करना और अस्पताल से छुट्टी करना, मरणासन्न रोगी, आरोग्य विषयक आवश्यकतायें एवं शरीर क्रिया विषयक आवश्यकतायें, गतिविधि और व्यायाम, सुरक्षा संबंधी आवश्यकतायें, उत्सर्जन विषयक आवश्यकतायें एवं विशेष परिस्थितियों में देख रेख, पोषण संबंधी जरूरत की पूर्ति, रोगी का अवलोकन, उपकरणों की देखभाल, संक्रमण रोधी परिचर्चा, दवाइयाँ देना, रिकार्डिंग और रिपोर्टिंग। - प्राथमिक चिकित्साः
प्राथमिक चिकित्सा का अर्थ एवं नियम । |आपात स्थिति जैसेः- आग, भूकम्प, अकाल, अस्थि भंग, दुर्घटनाओं, विषाक्तता, डूबना, रक्त स्राव होना, कीड़े का काटना, फारेन बाडी। घायल का स्थानान्तरण, पट्टी बांधने और खपच्ची बांधना, नर्सों की तत्काल एवं बाद में भूमिका । - मेडिकल सर्जिकल नर्सिंग :
मेडिकल एवं सर्जिकल चिकित्सा की स्थापना | (सेटिंग) में नर्स की भूमिका एवं जिम्मेदारी । सर्जिकल रोगी की देखभाल, एनेस्थिसिया (निश्चेतना ) । हृदय रक्त संचार तंत्र, पाचन तंत्र, जनन तंत्र एवं मूत्र प्रणाली, तांत्रिका तंत्र के रोग । श्वसन तंत्र, मांसपेशी, हाड़ पिंजर प्रणाली के विकार और रोग। रक्त विकार और रक्त ट्रांसफ्यूजन (चढ़ना) अंत : स्रावी तंत्र, मेटाबोलिक संबंधी विकार एवं कमी से होने वाली बीमारियाँ व स्राव की अधिकता और अल्पतागाँठ / ट्यूमर, मधुमेह, मोटापा, गठिया । त्वचा, कान, नाक एवं गले के रोग। आँख के विकार और रोग, सघन चिकित्सा नर्सिंग, सामान्य कमियो के कारण होने वाले रोग, भारत में पाए जाने वाले, प्रारम्भिक लक्षण, रोकथाम एवं उपचार। |संचारी रोगः– वायरसबैक्टिरियाजूनोसेस और मच्छर । - मनोरोग नर्सिंगः
परिचय, सामुदायिक जिम्मेदारी, निदान, प्रबन्धन एवं नर्स की भूमिका । - सामुदायिक स्वास्थ्य नर्सिंगः
संकल्पना, सामुदायिक स्वास्थ्य की | परिभाषा, संस्थागत और सामुदायिक स्वास्थ्य नर्सिंग में अंतर, सामुदायिक | स्वास्थ्य नर्सिंग की विशेषताएँ एवं कार्य, सामुदायिक स्वास्थ्य, नर्सिंग के पहलू, जनसांख्यिकी और परिवार कल्याण, स्वास्थ्य टीमः सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र (सी0एच0सी0), प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र (पी०एच०सी०) तथा उपकेन्द्र की संरचना। विभिन्न स्तरों पर नर्सिंग कार्मिकों की भूमिकाः पुरूष और महिला | स्वास्थ्य कार्यकर्ता, स्वास्थ्य पर्यवेक्षक, पब्लिक हेल्थ नर्स, पब्लिक हेल्थ नर्स |सुपरवाइजर, महत्वपूर्ण स्वास्थ्य सांख्यिकी, स्वास्थ्य शिक्षा एवं संचार कौशल। - मिडवाइफरी एण्ड गाइनकोलोजिकल नर्सिंगः
प्रस्तावना और परिभाषा, | सामान्य गर्भधारण, प्रसव – पूर्व देखभाल, गर्भावस्था में आहार से संबंधित सलाह | एवं देखभालप्रसव पूर्व व्यायाम, गर्भावस्था के सूक्ष्म विकार और असुविधा को दूर करनागर्भावस्था से संबंधित रोग । सामान्य प्रसव की तैयारी : प्रसव का प्रथम | चरण, द्वितीय चरण एवं तृतीय चरण । जन्म व शिशु के लिए नर्सिंग प्रबन्धन, माता |के सूतिकावस्था के दौरान प्रबन्धन, गर्भावस्था की जटिलतायें और उसके प्रबन्धनउच्च जोखिम युक्त गर्भावस्था और उसके प्रबन्धनप्रसूति जटिलताएँ, |सूतिकावस्था संबंधित जटिलताएँ व प्रबंधनप्रसव शल्य क्रियाप्रसूति में औषधि का इस्तेमाल, दाई और स्त्री रोग नर्सिंग से संबंधित नैतिक और कानूनी पहलू, प्रजनन और बाँझपन, स्तन एवं महिला प्रजनन प्रणाली के रोग एवं विकार । - बाल नर्सिंगः
बाल स्वास्थ्य देखभाल और बच्चे की देखभाल मे बाल नर्स की भूमिका एवं संकल्पना, स्वस्थ्य बच्चा, शिशु, शिशुओं के विकार, मान्यता और जन्मजात विसंगतियों का प्रबन्धन, स्तनपान, ठोस आहार, प्रसव शल्य क्रिया के पूर्व व बाद की देखरेख, नवजात बच्चे की शल्य चिकित्सा के लिये माता-पिता की तैयारी, बाल रोग : कारण, चिन्ह एवं लक्षणमेडिकल और सर्जिकल प्रबन्धन, नर्सिंग देखभाल, जटिलता, आहार और ड्रग थेरेपी, रोग संबंधित रोकथाम और उपचार, बचाव एवं चिकित्सा – पाचन तंत्र प्रणाली, श्वसन प्रणाली, जनन-मूत्र प्रणाली, हृदय रक्त परिसंचरण तंत्र, तांत्रिका तंत्र, आँख और कान, पोषण संबंधी विकार, संचारी रोग, रक्त विकार, अंत : स्राव विकार, बाल्य स्वास्थ्य आपात स्थित, मानसिक विकार समस्यायें और विकलांग शिशु - व्यवसायिक रूझान एवं समायोजन – परिभाषा और नर्सिंग पेशे के मानदण्डः
परिभाषा और नर्सिंग पेशे के मानदण्ड, एक पेशेवर नर्स के गुण, व्यक्तिगत पेशेवर विकास और नर्सिंग में कैरियर, व्यवसायिक एवं संबंधित संगठनः अन्तराष्ट्रीय कौंसिल ऑफ नर्स (आई०सी०एन०), भारतीय नर्सिंग परिषद (आई0एन0सी0), स्टेट नर्सिंग परिषद, विश्व स्वास्थ्य संगठनयूनिसेफ, ट्रेन्ड नर्स एसोसिएशन ऑफ इण्डिया (टी०एन०ए०आई०), रेडक्रास, नर्सिंग में कानून। - माइक्रोबायोलोजी :
नर्सिंग में माइक्रोबायोलोजी के ज्ञान की उपयोगिता एवं सम्भावनायें, महत्व, माइक्रोबायोलोजी का वर्गीकरणसंक्रमण विकास को प्रभावित करने वाले कारक, संक्रमण के स्त्रोत, सूक्ष्म जीवो के प्रवेश और निकास का द्वार, संक्रमण का संचरण, नमूना संग्रहण करना और नमूना संग्रहण करते समय दिमाग में रखे जाने वाला सिद्धांत, रोग क्षमता, नियंत्रण एवं सूक्ष्म जीवों का विनाश। - मनोविज्ञानः
परिभाषा, नर्सों के लिये महत्व एवं अवसर, मानव व्यवहार का मनोविज्ञानः– भावनायें, रूख, कुण्ठा और सुरक्षा तंत्र, व्यक्तित्व, खुफिया और संबंधित कारक, सीखना एवं अवलोकन । - समाजशास्त्रः
नर्सिंग में समाजशास्त्र का महत्व, समुदाय का सामाजिक, सांस्कृतिक एवं आर्थिक पहलुओं का स्वाथ्य एवं बीमारी पर उनका प्रभाव, परिवारः सामाजिक संस्था और स्वास्थ्य सेवा के लिये परिवार एक बुनियादी इकाई, परिवार की बुनियादी आवश्यकताएं, योजनाबद्ध पैरेन्टहुड के लाभ, समाज : समाज की अवधारणा, ग्रामीण एवं शहरी समाज, सामाजिक समस्यायें, अविवाहित मातायें, दहेज प्रथा, नशाखोरीमद्यपान, किशोर अपराधवृति, विकलांग, बाल उत्पीड़न, घरेलू हिंसा, महिला उत्पीड़न, सामाजिक संस्थायें एवं उपचारात्मक उपाय। अर्थव्यवस्थाः देश के संसाधन – प्राकृतिक, व्यावसायिक, कृषि, औद्योगिक आदि, सामाजिक सुरक्षाः जनसंख्या विस्फोट- अर्थव्यवस्था पर इसका प्रभाव और जनसंख्या नियंत्रण के लिये आवश्यकतायें, पारिवारिक बजट, प्रति व्यक्ति आय और स्वास्थ्य एवं बीमारी पर इसका प्रभाव । - व्यक्तिगत स्वच्छताः
स्वास्थ्य की देखभाल, शारीरिक एवं मानसिक स्वास्थ्य | - पर्यावरण स्वच्छताः- जलः
सुरक्षित एवं शुद्ध जल, जल का उपयोग, जल प्रदूषण, जल जनित रोग, जल का शुद्धिकरण । वायुः वायु प्रदूषण, वायु प्रदूषण के बचाव एवं रोकथाम । वेस्टः मलमूत्र, सीवेजसेहत को खतरा, कूड़ा करकट, स्वास्थ्य के लिये हानिकारक वेस्टेज को हटाने एवं उसका निस्तारण । आवासीयः- शोर । - नर्सिंग मे कम्प्यूटरः
डिस्क आपरेटिंग प्रणाली, कम्प्यूटर की नर्सिंग में उपयोगिता, इण्टरनेट और ईमेल ।
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